पेट की पथरी
वृक्ष भूमि की उर्वरता से लेकर कृषिकार्य को सफल बनाने में अपना उल्लेखनीय योगदान देते हैं। इनके साथ जहाँ बंजर भमि उपजाऊ हो जाती है वहीँ रेगिस्तान के प्रसार पर नियंत्रण हो जाता है और भूमि के जलस्तर में भी वृद्धि होती है। मैदानों में भूमि का गिरता जलस्तर और पहाड़ों में सूखते प्राकृतिक जल-स्त्रोतों को एक सीमा तक वृक्षारोपण के साथ हल किया जा सकता है। वहां के समझदार लोगों व निति-निर्माताओं का कार्य बनता है कि वे पेड़ अधिकाधिक मात्रा में लगाएँ, जो वायुमंडल एवं पृथ्वी में जल को निस्सृत करते हों और साथ ही ऐसे वृक्षों से बचें जो जल का अवशोषण करते हों व भूमि को बंजर बनाते हों।
Trees make a remarkable contribution from the fertility of the land to making agriculture successful. With these, where the barren land becomes fertile, the spread of desert is controlled and the water level of the land also increases. The falling water level of the land in the plains and the drying up of the natural water bodies in the mountains can be solved to an extent with plantation. The task of the wise people and policy-makers there is to plant more and more trees, which discharge water into the atmosphere and the earth, and at the same time avoid such trees which absorb water and make the land barren.
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लोक व्यवहार की कला सनातन धर्म के शास्त्रों में लिखा है कि जैसा व्यवहार तुम दूसरे से अपने साथ चाहते हो वैसा ही व्यवहार दूसरों के साथ करो। जो व्यवहार तुमको अच्छा नहीं लगता वो दूसरों के साथ भी मत करो। यह वाक्य समस्त संसार में बहुत प्रसिद्ध है। इस वाक्य को हर भाषा में लिखा गया है। यह बिल्कुल सही कहा गया है। हर मनुष्य चाहता है कि...
जहाँ गरीब देश की अधिकांश जनता को पौष्टिक भोजन नहीं मिलता, वहाँ इन जनप्रतिनिधियों के लिए इतने शानशौकत के महल और उसके साथ-साथ अनेक लग्जिरियस तामजाम अलग। इनकी यह व्यवस्था शहनशाहों व राजाओं से भी अधिक भड़कीली होती है। सुविधा इनकी, परन्तु नाम देश की प्रतिष्ठा का लिया जाता है। जिस प्रतिष्ठा का ये बहाना...